CLOSE TO ME

My friends,
It feels good to have my own blog.....there are things which are close to my heart and things which have affected me one way or the other.....my thoughts,my desires,my aspirations,my fears my gods and my demons---you will find all of them here....I invite you to go through them and get a glimpse of my innermost feelings....................

Saturday, April 28, 2012

आलिंगन.......


रात ख़ामोशी से बहती हुई,
अपने अंत की ओर बढ़ रही थी!
वो उसके आलिंगन में,
खुद को महफूज़ पा,
अपनी किस्मत पर इतरा रही थी!

कहीं कोई उदासी न थी,
न ही किसी दुःख का साया,
उसके करीब आ,
उसके सुख के लम्हों को,
दस सकता था!

एक अजब सा सुकूँ था,
जिसने उसको अपने आग़ोश में
घेर रखा था!
उसका प्यार उसके बदन पर,
ओस की बूंदों जैसा,
नर्म-नर्म बरस रहा था!

ठण्डी फुहार की तरह,
वो उसके हर स्पर्श को
महसूस कर पा रही थी!
उसकी उँगलियाँ उसके बदन पर
थिरक रही थीं,
मानो किसी साज़ पर थिरक रही हों!

अथाह प्रेम का एहसास,
रोम-रोम में,
महसूस किया जा रहा था!
बंद दरवाज़ों के पीछे,
उसने सवयं को
कभी इतना सुरक्षित नहीं पाया था!

उसे पता था,
रात के उस ओर,
जुदाई थी, तड़प थी!
पर रात के उस आलिंगन ने,
सब भुला दिया था!
जानती थी नहीं रख पायेगी,
उसे सदा के लिए!
पर परवाने की तरह
एक रात शमा के करीब आ,
जलना मंज़ूर था उसे!

माना कि सदियों का फासला था
होने वाला उनके बीच,
पर उस एक रात के लिए,
वो फासला भी मंज़ूर था उसे!
जानती थी कि उसके अधूरेपन को,
वो एक रात ख़त्म कर देगी सदा के लिए!
मंज़ोर्र था तड़पना उम्र भर के लिए,
उस एक रात के आलिंगन के लिए!!!! 
April 28, 2012 at 1054 P.M.




2 comments:

  1. भावों से नाजुक शब्‍द को बहुत ही सहजता से रचना में रच दिया आपने.........

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